
रायपुर । राजधानी में लंबे समय से संचालित तोमर बंधुओं के अवैध वसूली रैकेट का पुलिस ने भंडाफोड़ किया है। एंटी क्राइम एंड साइबर यूनिट और थाना पुरानी बस्ती पुलिस की संयुक्त कार्रवाई में ब्याज वसूली में संलिप्त दो आरोपियों – बंटी सहारे और जितेंद्र देवांगन उर्फ मोनू को गिरफ्तार किया गया है। इनके कब्जे से महत्वपूर्ण दस्तावेज और मोबाइल फोन जब्त किए गए हैं।
विस्टों फाइनेंस नाम से चल रहा था वसूली ग्रुप
पुलिस जांच में सामने आया है कि बंटी सहारे पिछले दो सालों से रोहित तोमर, वीरेंद्र तोमर और दिव्यांश के लिए ब्याज वसूली मैनेजर के तौर पर काम कर रहा था। विस्टों फाइनेंस नाम से बनाए गए व्हाट्सएप ग्रुप के ज़रिए ब्याज की रकम वसूली जाती थी और पूरा लेखा-जोखा मोबाइल पर संचालित किया जा रहा था।
धमकी देकर की जाती थी वसूली
जांच में यह भी सामने आया है कि ब्याज न चुकाने वाले लोगों को धमकाया जाता था। तोमर बंधु खुद पीड़ितों को डराकर वसूली करवाते थे। पुलिस के अनुसार, आरोपियों के खिलाफ छत्तीसगढ़ ऋणियों का संरक्षण अधिनियम समेत भारतीय दंड संहिता की धारा 308(2) और 111(1) के तहत थाना पुरानी बस्ती में अपराध क्रमांक 230/25 पंजीबद्ध किया गया है।
गिरफ्तार आरोपी
बंटी सहारे पिता अशोक सहारे (36), निवासी झंडा चौक, शिवनगर, चंगोराभाठा, थाना डी.डी. नगर, रायपुर
जितेंद्र देवांगन उर्फ मोनू पिता बिसनाथ देवांगन (24), निवासी शीतलापारा, सिमगा, जिला बलौदाबाजार (हाल पता – भगत सिंह चौक, टिकरापारा, रायपुर)
रायपुर पुलिस की टीम मुख्य आरोपी तोमर बंधुओं की लगातार पतासाजी कर रही है। साथ ही उनके अन्य सहयोगियों की पहचान और अवैध लेन-देन के नेटवर्क की कड़ियां जोड़ने का काम जारी है। पुलिस को शक है कि इस रैकेट में कई और लोग भी शामिल हैं।
तोमर बंधुओं का यह अवैध वसूली नेटवर्क अब कानून के शिकंजे में है। रायपुर पुलिस की सक्रियता से करोड़ों रुपये के कर्ज वसूली रैकेट की परतें खुल रही हैं। आने वाले दिनों में इस मामले में और बड़े खुलासे और गिरफ्तारी की संभावना जताई जा रही है।